कविनगर थाना क्षेत्र में आइसक्रीम कारोबारी के कर्मचारी अमित से 8.15 लाख रुपये की लूट के मामले में पुलिस ने 19 जून को पांच बदमाशों को मुठभेड़ के बाद गिरफ्तार किया था। इस कार्रवाई के लिए पुलिस को 25 हजार रुपये का इनाम भी मिला था। लेकिन शुक्रवार को अपर सत्र न्यायाधीश विनोद कुमार की अदालत ने दो आरोपियों—सूरज यादव और मनीष कुमार—को जमानत पर रिहा कर दिया।
कोर्ट का अवलोकन
जमानत आदेश में अदालत ने पाया कि मुठभेड़ में किसी पुलिसकर्मी को चोट नहीं लगी और घटना का कोई स्वतंत्र गवाह मौजूद नहीं था। साथ ही मुकदमे में वादी और साक्षी दोनों पुलिस के ही हैं।
घटना और गिरफ्तारी
- 19 जून की रात पुलिस ने सिकरोड मार्ग पर मुठभेड़ के दौरान नितिन, सूरज और मनीष को पकड़ा।
- इस दौरान सूरज और नितिन के पैरों में गोली लगी, जबकि मनीष बाद में भागने की कोशिश में घायल हुआ।
- तीनों के पास से 4.30 लाख रुपये और तीन तमंचे बरामद हुए।
- दो अन्य साथी—बृजेश और अंकुश—को मधुबन-बापूधाम क्षेत्र में दूसरी मुठभेड़ में पकड़ा गया, जिनके पास से 1 लाख रुपये, असलहा और बाइक बरामद हुई।
बचाव पक्ष का तर्क
बचाव पक्ष ने अदालत में कहा कि आरोपियों को पुलिस ने मुठभेड़ से तीन दिन पहले ही थाने लाकर रखा था और बाद में फर्जी तरीके से गिरफ्तार दिखाया। इसके अलावा कोई स्वतंत्र गवाह या साक्ष्य मौजूद नहीं है।
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